क्र.सं.
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जाति
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व्यवसाय
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१
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दर्जी
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कपड़ों की सिलाई का कार्य करने वाले
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२
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सोनार
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सोने/ चाँदी की धड़ाई का धंधा करने वाले
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३
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नाई
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बाल काटने का कार्य करने वाले
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४
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नीलगर
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रंगरेज, जो नील की रंगाई प्रधान रुप से करते थे।
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५
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सिकलगर
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लोहे के औजारों पर पॉलिश करने व धार लगाने वाले
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६
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खेलवार
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नमक बनाने का व्यवसाय करने वाले
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७
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तंबोली
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पान,
सुपारी बेचने का धंधा करने
वाले
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८
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खाती
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लकड़ी
की वस्तुओं का निर्माण करने
वाले
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९
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साबणगर
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साबुन बनाने का धंधा करने वाले
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१०
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कुम्हार
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मिट्टी के बरतन बनाने वाले
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११
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गाछा
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टोकेरियाँ बनाने का धंधा करने वाले
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१२
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सिलावट
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मकान पर शिलायें चढ़ाने कार्य करने वाले
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१३
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धोबी
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कपड़े धोने का कार्य करने वाले
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१४
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नालबंध
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बंदूक की नाल तैयार करने वाले
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१५
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जुलाहा
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कपड़ा बुनने का व्यवसाय करने वाले
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१६
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कुंजड़ा
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फल बंचने का धंधा करने वाले
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१७
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चितारे
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रंगसाजी एवं चित्रकारी से मकान सुसज्जित करने वाले
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१८
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तेली
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खाद्यान्न तेल निकालने का कार्य करने वाले
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१९
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माली
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सब्जियाँ बोने व उपलब्ध कराने वाले
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२०
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कलाल
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शराब बनाने व बेचने का धंधा करने वाले
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२१
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छीपा
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कपड़े पर छपाई का कार्य करने वाले
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२२
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कहार
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पालकी उठाने व पानी भरने का कार्य करने वाले
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२३
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लोहार
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कृषि व घरेलू लोहे के उपकरणों का निर्माण करने वाले
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२४
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घोसी
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दुधारु पशुओं का पालन करने व दूध बेचने वाले
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२५
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मोची
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चमड़े की वस्तुएँ बनाने वाले
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२६
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जटीया- वणगर
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ऊँट, बकरी आदि पशुओं के बालों की बुनाई करने वाले
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२७
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भड़भूंजा
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अनाज को भाड़ में भूनने वाले
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२८
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तीरगर
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तीर बनाने का कार्य करने वाले
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२९
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लखारा
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लाख की चूड़ियाँ बनाने व बेचने का धंधा करने वाले
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३०
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पिंजारा
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रुई धुनने, खोलने व साफ करने का धंधा करने वाले
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३१
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खटीक
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पशुओं के चमड़े को पकाने का कार्य करने वाले
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३२
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सरगरा
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औड़ियां बनाने का धंधा करने वाले
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